इस्लामाबाद: पाकिस्तान को रूस से कच्चे तेल का सीधा आयात शुरू हो गया है। रविवार को रूस का पहला तेल टैंकर रियायती कच्चा तेल लेकर कराची पहुंचा। इस टैंकर में 45000 मीट्रिक टन कच्चा तेल लदा हुआ था। इस तेल को पाकिस्तानी रिफाइनरियों को परीक्षण के लिए दिया गया है। अगर परिणाम संतोषजनक लगे तो पाकिस्तान और बड़ी मात्रा में रूस से कच्चे तेल को खरीद सकता है। हालांकि, पाकिस्तान के लिए रूस को कच्चे तेल के बदले की जाने वाली पेमेंट सबसे बड़ी समस्या बनी हुई है। पाकिस्तान चाहकर भी रूस को डॉलर में पेमेंट नहीं कर सकता है। इतना ही नहीं, वह क्रेडिट पर भी रूस से कच्चा तेल नहीं खरीद सकता है। ऐसे में खुलासा हुआ है कि पाकिस्तान इस वक्त चीनी मुद्रा युआन में रूस को कच्चे तेल का भुगतान कर रहा है।
युआन में रूस को भुगतान कर रहा पाकिस्तान
पाकिस्तान के पेट्रोलियम मंत्री मुसादिक मलिक ने कहा कि पाकिस्तान ने युआन में रूस को भुगतान किया है। इसे अमेरिकी डॉलर के प्रभाव वाली भुगतान नीति में बड़ा बदलाव माना जा रहा है। पाकिस्तान का विदेशी मुद्रा भंडार मुश्किल से चार सप्ताह के लिए आयात के भुगतान के लिए ही पर्याप्त है। मुदासिद मलिक ने रूस के साथ हुए रियायती तेल सौदे की डिटेल का खुलासा किए बिना कहा कि रूस से पाकिस्तान की रियायती तेल खरीद गवर्मेंट टू गवर्मेंट डील है। अप्रैल में पहले बैच में रूस से 100000 टन कच्चे तेल की खरीद की गई है, जिसमें से 45000 टन कच्चा तेल कराची बंदरगाह पर पहुंच चुका है और बाकी रास्ते में है।रूस को दक्षिण एशिया में मिला नया बाजार
पाकिस्तान को तेल की आपूर्ति से रूस को दक्षिण एशिया में एक नया बाजार मिल गया है। अभी तक रूस का सबसे ज्यादा कच्चा तेल भारत और चीन खरीद रहे हैं। यूक्रेन युद्ध के कारण पश्चिमी देशों ने रूस से तेल के आयात पर प्रतिबंध लगा रखा है। ऐसे में रूस को मजबूरन कम कीमत पर अपने कच्चे तेल को बाकी देशों को बेचना पड़ रहा है। विश्लेषकों का कहना है कि एक लंबे समय से पश्चिमी देशों के सहयोगी रहे और पड़ोसी भारत के कट्टर प्रतिद्वंदी होने के बावजूद पाकिस्तान को रूस से कच्चा तेल मिल रहा है, जबकि उसकी भारत के साथ ऐतिहासिक रूप से अच्छे संबंध रहे हैं।पाकिस्तानी रिफाइनरियों तक पहुंचा रूसी तेल
पाकिस्तानी मंत्री ने काह कि पाकिस्तान रिफाइनरी लिमिटेड (पीआरएल) शुरू में रूसी कच्चे तेल को रिफाइन करेगी। उन्होंने रूस से खरीदे गए पहले शिपमेंट को वित्तीय और तकनीकी तौर पर ट्रायर रन करार दिया। मलिक ने सोमवार को अपनी रिफाइनरियों की क्षमताओं पर उठ रहे सवालों को खारिज कर दिया। उन्होंने कहा कि हमारी रिफाइनरियां मध्य पूर्व से आने वाले कच्चे तेल के साथ रूसी तेल को भी रिफाइन करने में सक्षम हैं। उन्होंने कहा कि किसी भी हालात में कच्चे तेल की रिफाइनिंग से नुकसान नहीं होगा।from https://ift.tt/IrtO7iz
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